छत्तीसगढ़ ग्रोथ एंड स्टेबिलिटी फंड विधेयक 2025 विधानसभा में सर्वसम्मति से पारित

रायपुर: छत्तीसगढ़ विधानसभा के मानसून सत्र के आखिरी दिन राज्य की आर्थिक स्थिरता और सतत विकास को सुनिश्चित करने के लिए छत्तीसगढ़ ग्रोथ एंड स्टेबिलिटी फंड विधेयक 2025 को सर्वसम्मति से पारित किया गया. यह विधेयक राज्य के वित्त मंत्री ओपी चौधरी ने पेश किया. उन्होंने विधेयक के उद्देश्यों, प्रावधानों और इससे होने वाले लाभों की जानकारी सदन को दी.
वित्त मंत्री चौधरी ने कहा कि राज्य में खनिज संसाधनों से होने वाली आय में निरंतर वृद्धि हुई है. वर्ष 2001-02 से 2024-25 के दौरान खनिज राजस्व में 30 गुना से ज्यादा की वृद्धि दर्ज की गई है. वहीं पूंजीगत व्यय में भी लगभग 43 गुना की वृद्धि हुई है. वर्ष 2024-25 में पूंजीगत व्यय में पिछले वर्ष की तुलना में 38 प्रतिशत और वर्ष 2023-24 में 19 प्रतिशत की वृद्धि हुई थी.
मंत्री ने बताया कि पूंजीगत व्यय से अर्थव्यवस्था को मल्टीप्लायर इफेक्ट मिलता है, जिससे एक रुपये के निवेश से अर्थव्यवस्था को तात्कालिक रूप से 2.45 रुपये और दीर्घकाल में 3.14 रुपये का लाभ मिलता है. इसी दृष्टिकोण से यह फंड राज्य के पूंजीगत व्यय को सुदृढ़ करने में सहायक होगा
फंड के प्रावधान और लाभ: वित्त मंत्री ने बताया कि यह फंड खनिज संसाधनों से प्राप्त वार्षिक राजस्व का न्यूनतम 1 प्रतिशत और अधिकतम 5 प्रतिशत तक निवेश की व्यवस्था करेगा. फंड से प्राप्त लाभांश को पुनः फंड में निवेश किया जाएगा. इस फंड का उपयोग पूंजीगत व्यय के लिए ही किया जाएगा. विशेष परिस्थितियों में ही मूल राशि से आहरण किया जा सकेगा. फंड की पारदर्शिता और उत्तरदायित्व सुनिश्चित करने के लिए विस्तृत नियम बनाए जाएंगे, जिनमें फंड प्रबंधन, निवेश प्रक्रिया और अनुमति योग्य निवेश साधनों का स्पष्ट निर्धारण किया जाएगा.
ओपी चौधरी ने कहा कि ऐसा फंड बनाने वाला छत्तीसगढ़ संभवतः देश का पहला राज्य है. मुख्य बजट 2025-26 में इस फंड के लिए 50 करोड़ रुपये का प्रावधान किया गया है.उन्होंने यह भी बताया कि जिला खनिज न्यास निधि के माध्यम से दंतेवाड़ा में मेडिकल कॉलेज समेत कई जिलों में स्वास्थ्य एवं शिक्षा अधोसंरचना का निर्माण किया जा रहा है.